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बणजा बेटा मोरयो / कुमार गणेश

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प्रीत पगल्या टूट्या-फूट्या,घाल गले में डोरयो
रोवनो है तो बिरखा में रो,बणजा बेटा मोरयो

इब बे बेली मिलै कठे है,इब बे जूनी बात्यां है
काढ कालजो चाखै साथी,इब कांई ओ होरयो

नूंवे जमाने री निजरां सूं,इत्तो फरक तो आ ई ग्यो
पेली बाजतो जीको 'चोरसा',इब बो ई है 'चोरयो'

लोई सूखग्यो चेरे रो,आंख्यां भाटा बणगी है
जद सूं टूट्यो था रै म्हारे,मन बीचे रो डोरयो

पाछो इब तूं कांई आसी,कांई था री उम्मीदां राखां
बाथां भर ले आज 'कुमार',देख कोई है रो रयो