भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

हथेली / पुष्पिता

Kavita Kosh से
अनिल जनविजय (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 01:33, 9 जनवरी 2012 का अवतरण

(अंतर) ← पुराना अवतरण | वर्तमान अवतरण (अंतर) | नया अवतरण → (अंतर)
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज

प्रणय
हथेली में रखा हुआ
मधु-पुष्प है

साथ उड़ान की शक्ति
रचता है—
शब्दों में
पृथ्वी का कोमलतम स्पर्श
सारी क्रूरताओं के विरूद्ध ।