Last modified on 4 अक्टूबर 2015, at 22:08

बेबसी / पृथ्वी पाल रैणा

द्विजेन्द्र ‘द्विज’ (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 22:08, 4 अक्टूबर 2015 का अवतरण ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=पृथ्वी पाल रैणा }} {{KKCatKavita}} <poem> क्या बे...' के साथ नया पृष्ठ बनाया)

(अंतर) ← पुराना अवतरण | वर्तमान अवतरण (अंतर) | नया अवतरण → (अंतर)

क्या बेबसी है,
मुल्क का आलम
तो देखिये,
रूहों की रियासत में
जिस्मों की हुकूमत है ।