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अंगूठी के अवगुण / राजकिशोर सिंह
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अंगूठी के अवगुण बहुत हैं
मत पहनिये बंदा
बनती कभी हाथ की हथकड़ी
कभी पफांसी का पफंदा
रिंग शिरोमणी में रिंग कहलाता
औरों पे अपना रंग जमाता
अंग-अंग मुस्का के वर को
वध्ु के संग थमाता
शादी के बाद इस अंगूठी की
रंगत दिऽती है बड़ी
ध्ीरे-ध्ीरे बढ़ते-बढ़ते
हाथ की बनती है हथकड़ी
अंगूठी गोल, हथकड़ी गोल
गोल है इसकी चाल की कला
एकदिन पहुँच कर गर्दन तक
दबाती है ये इंसान का गला
अंगुली में सोने की अंगूठी
पफंदा नहीं सरकारी
करती यह संकेत किसी का
अपने घर की जिम्मेदारी।