Last modified on 23 नवम्बर 2020, at 23:35

मीठी बात ही करते रहिये / अशेष श्रीवास्तव

सशुल्क योगदानकर्ता ५ (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 23:35, 23 नवम्बर 2020 का अवतरण ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=अशेष श्रीवास्तव |अनुवादक= |संग्रह...' के साथ नया पृष्ठ बनाया)

(अंतर) ← पुराना अवतरण | वर्तमान अवतरण (अंतर) | नया अवतरण → (अंतर)

मीठी बात ही करते रहिये
कड़वी बात सुनेगा कौन...
सच कहने को सब तैयार
सच्ची बात सुनेगा कौन...
बातें तो सब अच्छी करते
अच्छे काम करेगा कौन...
दिल में कितनी बातें हैं पर
दिल की बात सुनेगा कौन...
दिखना ही बस अच्छा चाहें
बनना अच्छा चाहे कौन...
नफ़रत का है शोर शराबा
प्यार की बात सुनेगा कौन...
बुरी ख़बर ही छापते रहिये
अच्छी ख़बर पढ़ेगा कौन...
सब को जानने सब बेताब
खुद को जानना चाहे कौन...
तंग आ चुके बिल्ली से सब
गले में घंटी बाँधे कौन...
सभी चाहते प्यार को पाना
लेकिन प्यार लुटाये कौन...
झूठों का है बोल बाला
सच्ची बात सुनेगा कौन...
मतलब के ढेरों रिश्ते हैं
सच्चा प्यार करेगा कौन...
कहने को हैं बहुत से साथी
लेकिन सच में अपना कौन...
औरों को आइना दिखाते
खुद भी आइना देखे कौन...
बातें बस बातें ही बातें
इन पर अमल करेगा कौन...