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माननीय / अशोक अंजुम

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माननीय
आपके आने से
अचानक
कहाँ ग़ायब हो जाता है
शहर का कचरा?
रास्ते नज़र आने लगते हैं
साफ़-सफ़्फ़ाफ़।