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इन्दवा ते रासबिन्दवा दो सके भराह / पंजाबी
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♦ रचनाकार: अज्ञात
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इन्दवा ते रासबिन्दवा
दो सके भराह,
दिन्ने जांदे नोकरी
कर आंदे बपार
इन्दवा पुतर पठानी दा
में इक राजे दी धी,
इन्दवे मारी पश्तो,
में न समझी
इन्दवे चुकया चिमटा
मै समझ गई
चल तेरी मेरी
चल कोडी फेरी
कई दिलाँ दी लैया वे इन्दवे
कई लाई गावैया वे इन्दवे
चल इन्दवे उस देस नु
जिथे पकन अनार
तू तोड़ें में वेचसाँ
इक धेले दे चार
चल तेरी मेरी
चल कोडी फेरी
कई दिलाँ दी लैय्या वे इन्दवे
कई लाई गवाय्या वे इन्दवे
चल तेरी मेरी
चल कोडी फेरी