जब मुस्कुरा रहा है
अमेरिका
तो क्या मुस्कुरा रहा है
भारत भी
या लटका हुआ है
आम आदमी
खूँटी में टंगे
लक्षमन के कोट की तरह
उपेक्षित...?
जब मुस्कुरा रहा है
अमेरिका
तो क्या मुस्कुरा रहा है
भारत भी
या लटका हुआ है
आम आदमी
खूँटी में टंगे
लक्षमन के कोट की तरह
उपेक्षित...?