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/* ग़ज़लें */
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====ग़ज़लें====
* [[ बदन सिमटा हुआ और दश्त-ए-जाँ फैला हुआ है / सालिम सलीम]]* [[दालान में कभी कभी छत पर खड़ा हूँ मैं / सालिम सलीम]]* [[दश्त की वीरानियों में ख़ेमा-ज़न होता हुआ / सालिम सलीम]]* [[हंगामा-ए-सुकूत बपा कर चुके हैं हम / सालिम सलीम]]* [[काम हर रोज़ ये होता है किस आसानी से / सालिम सलीम]]* [[कुछ भी नहीं है बाक़ी बाज़ार चल रहा है / सालिम सलीम]]* [[मिरे ठहराओ को कुछ और भी वुसअत दी जाए / सालिम सलीम]]* [[पस-ए-निगाह कोई लौ भड़कती रहती है / सालिम सलीम]]