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|कृतियाँ=भक्तसर्वस्व (1870), प्रेममालिका (1871), प्रेम-माधुरी (1875), प्रेम-तरंग (1877), उत्तरार्द्ध-भक्तमाल (1876-77), प्रेम-प्रलाप (1877), गीत-गोविंदानंद (1877-78), होली (1879), मधु-मुकुल (1881), राग-संग्रह (1880), वर्षा-विनोद (1880), फूलों का गुच्छा (1882), प्रेम-फुलवारी (1883), कृष्ण-चरित्र (1883)
|विविध= हिन्दी साहित्य के पितामह
|अंग्रेज़ीनाम=Bhartendu Harishchandra
|जीवनी=[[भारतेंदु हरिश्चंद्र / परिचय]]
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