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<poem>
बहारों ने मेरा चमन लूटकर
 
खिज़ां को ये इल्ज़ाम क्यों दे दिया
 
किसीने चलो दुश्मनी की मगर
 
इसे दोस्ती नाम क्यों दे दिया
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