भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

Changes

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज
New page: रचनाकार: भावना कुँअर ~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~ यूँ ही रोज हमसे, मिला कीजिए फूलों ...
रचनाकार: भावना कुँअर

~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~

यूँ ही रोज हमसे, मिला कीजिए

फूलों से यूँ ही, खिला कीजिए।


करते हैं तुमसे, मोहब्बत सनम

इसका कभी तो, सिला दीजिए।


कब से हैं प्यासे, तुम्हारे लिए

नज़रों से अब तो, पिला दीजिए।


पत्थर हुए हम, तेरी याद में

छूकर हमें अब, जिला दीजिए।


हो जाये कोई खता जो अगर

हमसे न कोई, गिला कीजिए।


Categories: कविताएँ | भावना कुँअर
Anonymous user