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आत्मा / लक्ष्मीनारायण रंगा

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हूं
जुगां रै किनारां
बीचाळै बैवती
बैरूपी नदी हूं
सूरज
म्हारै
किरणां रै डोरां सूं

इन्दरधनुस री कांचळी‘र
सावणी घटावां रो साटणो लंहगों
सीं‘र
फुवारां री झीणी चूंदड़ी पर,

बीजळया री कनार लगावै,
मनै
तारा
नगजड़िया काफूल‘र
चान्दो
चन्दरहार
पैरावै,

बसन्त
म्हारी चोटी सिणगारै
अर
उषा रो कूं कूं म्हारी
मांग भरै,

अर
सिंझा री सळाई
म्हारै काजळ आंजै
अर
नुई बीनणी सी
सजीधजी
हूं

सदा दुआगण
म्हारै लैरां रै होठां सूं
बिजोग रा गीत गाऊं
अर
आख्यां सूं
अणबिंध्या मोती
टपकाती रैवूं
अर

महासागर सूं
महामिलण रै वास्ते हूं
जुगां जुगां सूं

बैवती रैई हूं
अर
बैवती रैस्यूं