चाहने भर से क्या होता है
कहना चाहो तो भी
कहा नहीं जा सकता।
कहने और न कहने के बीच
एक खूबसूरत जगह है दोस्तों
उसी जगह पर रूक गया हूं मैं
करता हूं आपसे अनुनय
विदा कहें मुझे!
चाहने भर से क्या होता है
कहना चाहो तो भी
कहा नहीं जा सकता।
कहने और न कहने के बीच
एक खूबसूरत जगह है दोस्तों
उसी जगह पर रूक गया हूं मैं
करता हूं आपसे अनुनय
विदा कहें मुझे!