Last modified on 28 फ़रवरी 2019, at 10:41

कुर्ता खादी का चौचक / जगदीश पीयूष

Sharda suman (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 10:41, 28 फ़रवरी 2019 का अवतरण ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=जगदीश पीयूष |अनुवादक= |संग्रह= }} {{KKCat...' के साथ नया पृष्ठ बनाया)

(अंतर) ← पुराना अवतरण | वर्तमान अवतरण (अंतर) | नया अवतरण → (अंतर)

कुर्ता खादी का चौचक।
ताकैं गाँधी जी भौचक॥

होइगे घरे घरे नेतवे दलाल माई जी।
करैं धीरे धीरे हमका हलाल माई जी॥

चाटैं राजनीति कै चाट।
रोजै बदलैं धोबी घाट॥

धक्का मुक्की होइगा देसवा धमाल माई जी।
करैं धीरे धीरे हमका माई जी॥

चारिव ओरी मारामारी।
जेका देखा ठेकेदारी॥

होइगे मन्त्री जी कै पूत मालामाल माई जी।
करैं धीरे धीरे हमका हलाल माई जी॥

अफसर होइगे बेइमान।
नौकर चाकर भरे गुमान॥

वोटवा होइगा हमरी जान क बवाल माई जी।
करैं धीरे धीरे हमका हलाल माई जी॥