भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

देशभक्ति / सुरेश कुमार मिश्रा 'उरतृप्त'

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज

मौत के कटघरे में खड़े होकर
हम ज़िन्दगी की भीख नहीं मांगेंगे।
हिंदुस्तान का हर शख़्स खुश रहे अरे
बस हम खुदा से इतनी दुआ करेंगे॥