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बीं नगरी-गांव कूच कर बाबा / सांवर दइया

बीं नगरी-गांव कूच कर बाबा
जठै नीं हुवै कोई डर बाबा

धमाकै सागै घायल हुवै चिड़ी
कोई जतन-जापतो कर बाबा

ऐ कैवै- जबान अडाणै धरो
जीवता थकां जावां मर बाबा

आगीवाण हुया खुद धाड़ेती
हुवैला अबै किंयां बसर बाबा

ना हरख ना तिंवार अठै कोई
औ है कैड़ो-कांई घर बाबा