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"ब्लैक होल / अरविन्द अवस्थी" के अवतरणों में अंतर

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12:03, 5 नवम्बर 2009 के समय का अवतरण

धरती का ब्लैक होल
हो गई है
आज की राजनीति
जहाँ सब कुछ
हो जाता है हज़म
बदल जाती है पूर्णिमा
अमावस में
नहीं ढूंढ़ पातीं
सूरज की किरणें
निकलने को रास्ता
उलझकर मुर्झा जाती है
उनकी ऊर्जा
और बनकर रह जाती है
उस 'अंधकार' का एक हिस्सा ।