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यही बात ख़ुद समझना यही बात आम करना / शबीना अदीब

यही बात ख़ुद समझना यही बात आम करना
जो गुरूर में हो डूबा उसे मत सलाम करना

मैं बस इतना चाहती हूँ रहे चैन ज़िन्दगी में
न बहुत ख़ुशी लुटाना न सुकूँ हराम करना