Last modified on 27 जुलाई 2013, at 17:53

रती राम सैनी / भास्कर चौधुरी

रती राम सैनी
हाँ यही नाम है उसका
रहने वाला डेरा गाँव, अल्वर राजस्थान का
उम्र तैंतिस वर्श
रेलवे की नौकरी
तनख्वाह मासिक बीस हजार
कच्चा मकान
जहाँ रहते हैं
पत्नी, पिता
और लड़कियाँ चार
कृषक पिता जिसने पाला पोसा बड़ा किया
आज हो गए हैं अशक्त गिरकर पेड़ से किसी
बिस्तर से लगे
रती राम दौड़ता है लम्बी दूरियों वाले रेस -
मेराथॉन, हाफ मेराथॉन और दस हजार मीटर
कि जीत सके तो पैसा है वहाँ
खरीद सके आठ-दस हजार के जूते ‘नाइक’ के
हालाँकि ट्रेनर अब भी वही
स्कूल के जमाने से
शिक्षक स्कूल के -
सबर प्रताप चौहान...
अभी कल ही की तो बात है
कह रहे थे टीवी पर मिल्खा सिंह
जब कहा नेहरू ने माँगो मिल्खा माँगो
तुम जो भी चाहो माँगो आज
देष का मान बढ़ाया है तुमने
जीतकर कॉमनवेल्थ में
कहा था मिल्खा ने तब नेहरू से
माँगना नहीं आता उन्हें...
क्या कहे रती राम ?