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वण जी छांव / वीना शृंगी
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मां घाटे वण जी छांव आहियां
हर राही रहगुज़र लाइ राहत आहियां।
पर.... पोइ बि... हरकंहिं
मुंहिंजा छोॾा लाथा आहिनि।