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सचमुच / पंकज चौधरी

सचमुच में आप
बदलाव चाहते हैं?

सचमुच में आप
परिवर्तन चाहते हैं?

सचमुच में आप
दुनिया को बदल देना चाहते हैं?

तो हटाइए
बोरिंग के उस मुहाने पर से
अपना जकड़ा हुआ हाथ

जिसकी कल-कल करती धारा को
आपने आज तक निकलने ही नहीं दिया!