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"हम तो एक बार उसके हो जायें / अमजद हैदराबादी" के अवतरणों में अंतर

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|रचनाकार= अमजद हैदराबादी
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हम तो एक बार उसके हो जायें।
 
हम तो एक बार उसके हो जायें।
 
 
वो हमारा हुआ, हुआ, न हुआ॥
 
वो हमारा हुआ, हुआ, न हुआ॥
 
  
 
ढूँढ़ता हूँ मैं हर नफ़स<ref>सांस</ref> उसको।
 
ढूँढ़ता हूँ मैं हर नफ़स<ref>सांस</ref> उसको।
 
 
एक नफ़स<ref>लम्हा</ref> मुझसे जो जुदा न हुआ॥
 
एक नफ़स<ref>लम्हा</ref> मुझसे जो जुदा न हुआ॥
 
  
 
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क्या मिला वहदते-वजूदी से<ref>एक-ईश्वरवाद से</ref>?
 
 
बन्दा, बन्दा रहा, खुदा न हुआ॥
 
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ख़ैर गुज़री कि मैं ख़ुदा न हुआ॥
 
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18:01, 19 जुलाई 2009 का अवतरण

हम तो एक बार उसके हो जायें।
वो हमारा हुआ, हुआ, न हुआ॥

ढूँढ़ता हूँ मैं हर नफ़स<ref>सांस</ref> उसको।
एक नफ़स<ref>लम्हा</ref> मुझसे जो जुदा न हुआ॥

क्या मिला वहदते-वजूदी से<ref>एक-ईश्वरवाद से</ref>?
बन्दा, बन्दा रहा, खुदा न हुआ॥

बन्दगी में यह किब्रयाई<ref>अभिमान</ref> है?
ख़ैर गुज़री कि मैं ख़ुदा न हुआ॥

शब्दार्थ
<references/>