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कलाम के प्रति / पवन कुमार मिश्र

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आप मिसाइल मैन हैं या
एक मिसाल ,
जो हम जैसों के लिए बन गए हैं ।
लेकिन,
आपकी सटीक परिभाषा दूँगा
एक मशाल के रूप में ।
आपने ता-उम्र जलकर
रोशनी दी है
सौ करोड़ से अधिक आत्माओं के लिए
आप बन गए है
अक्षय ऊर्जा स्रोत ।
आपकी रहस्यमयी मुसकान
मुझे चुनौती देती है
और प्रेरित करती है
'दिया' बन जाने को
हताशा के अँधेरे में,
और
भय की ठिठुरन में
'अग्नि' बन जाने को ।