भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

धरती राजस्थान री / किशोर कल्पनाकांत

Kavita Kosh से
Sharda suman (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 17:04, 15 अक्टूबर 2013 का अवतरण

(अंतर) ← पुराना अवतरण | वर्तमान अवतरण (अंतर) | नया अवतरण → (अंतर)
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज

आ है वीरभोम विख्यात
आ तौ बलिदानां री बात
उजळा धरम-करम री ख्यात

रचणा रंगरूड़ी, अभिमान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

पूरब में आडावळ डूंगर, पण रोपण ऐनाणं
आथूणा धोरा जुझारू, भंभूळयां रा गाणा
उतराधै सींवाडै गंगा री बेटी बळ खावै
दिखणाधी घाट्यां इतिहासी ओळख नै परखावै
बिचली माटी तणी मरोड़
गोरा धोरां जठै धरोड़
लूंठी पुण्यायी पुनवान री जी राज
धरती आ है राजस्थान जी री राज

त्याग‘र तप री माटी, कण-कण जसगाथावां गावै
अटळ-वीरता, प्रेम‘र भगती रौ संदेश सुणावै
कठै दरद रा गोट, कठैई झरै प्रीत रा झरणा
राष्ट्र भाव रै आगै कांपै, बैरयां रा नित थरणा
साहित, कळा, लोक संगीत
मानखैं रो सागीड़ौ बींत
चींत में चिंत्यावां गुणवान जी री राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

अंबरगढ़-आमेर सवायौ, सीसम्हैल लाखीणौ
नीं देख्यो जैपर-नाहरगढ़, सांची जलमविहूणौ
जंतर-मंतर, हवाम्हैल, जैगढ़ री घायां गाजै
गोविंदजी रौ मिंदर, गळतौ तीरथधाम निवाजै
रामगढ़ झील‘र सांगानेर
बगीचा-बाग जठै चौफेर
नीजर अटकै हर इनसान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

बीचूंबीच काळजै सिरखौ, है अजमेर अनूठौ
ख्वाजा री दरगा रौ तीरथ, संकळायीधर लूंठौ
ढायी दिन रौ अजब झूंपडौ, चोखौ घणो चिणायौ
ऊभौ है तारागढ़, आनासर गजब खुणायौ
संस्कृति-संगम घेरघुमेर
क म्हारौ जगजाण्यौ अजमेर
क भोमी लालकिलै-नसियान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

पुष्कर मानसरोवर म्हारौ, पुन रा मोती निपजै
बिरमाजी रै मिंदर में ज्यूं, आखी सिस्टी उपजै
सावित्री मिंदर‘र किसनगढ़, चित्रामां री नगरी
जठै नागरीदास तणी है, कळा भरयोड़ी गगरी
गुंदेळाव तण आ झील
म्हैकै फूल म्हैल रंगील
मिंदर में मूरत कल्याण री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

रूस‘र भाजी जीण भैण नै हरसौ बीर मनावै
तंतर साध बण्यौ भैंरूजी, धूणी अलख जगावै
तीरथ धाम लुहागर, मैया साकंभरी रूखाळै
सगतीपीठ झूंझणूं, राती सत री जोत उजाळै
बुलावै खाटू हाळौ स्याम
फतैपुर सगती-पूजण धाम
क निरमळ गाथावां गुणगान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

देसनोक री करणीमाता, सिंघ चढ़ी सरणावै
रणबंका राठौड़ां री दाकळ सूं घर गरणावै
कोलायत मे कपिल मुनी री, तपै आज लग धूणी
कातिग स्नान करै तौ होवै, सुफळ मिनख री जूणी
लालगढ़, जूनौगढ़, गजनेर
सुरंगौ सावण बीकानेर
जीतमल, हरमिंदर रै मान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

देवीकुंड, अनूपम्हैल, शिवबाड़ी घणी सुरंगी
करणम्हैल, दुरगानिवास अर फूलम्हैल बौरंगी
चंद्रम्हैल में बैठ‘र पीतळ, पातळ नै समझायौ
पूगळ री पदमण्यां रूप रौ, च्यानणियौ चिलकायौ
‘मांड’ रा रात्यूं गूंजै गीत
अठै सूं सरजीवण संगीत
धरती धोरांळी मुसकान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

चांदी रा गोळां रौ चुरू, मालासी रौ भैंरू
भींव भुजाळौ गट्टा खेया स्यानण रै चौफेरूं
द्रोणगीर-रणधीसर, गमगी अठै-कठै चंदेरी
कत्थक निरत अठैई निपज्यो, कळावंत मनल्हैरी
अठै है छापर हाळौ ताळ
अठैई बालाजी-गोपाळ
रा है सालासर हनुमान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

मीरां मेड़तणी रै मिंदर में गिरधर गरबावै
प्रेमदिवानी हरजस गाती, हियै दो दरद जगावै
अठै ओसियां रौ मिंदर, औ जबरजंग जोधाणौ
दुरगादास वीर ओ ई, सागी ठौड़ ठिकाणौ
ओ है राठौड़ी मंडौर
नित-नित भलौ जिकौ नागौर
क पणघट-पणियारयां बेभान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

लोदरवै री मूमल-सूमल, नाटक अजब रचायौ
रूपंती नखसिख-सिणगारू, घर-घर गीत गुवायौ
पटवौ पोयौ हार, हार में बणी जीत री हेली
नथमल-सालमसिंघ री हेली, मनमोवण-अलबेली
जैन मिंदर‘र ग्यान भंडार
क जैसळमेर तणी मनवार
बाड़ामेरी रेगिस्तान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

गढ़ां मांयलौ गढ़ चित्तौड़ी, रजवट नै परखाणौ
मेवाड़ी भुजबळ रौ लूंठोड़ौ, अणजीत्यौ पाणौ
राणा कुंभा, सांगा, पातळ री दकाळ सुणीजै
खिंड्या पडया मिंदर ढमढेळा, पाछा किंया चिणीजै
हरजस मीरां तणी हुंसेर
हेला मारै च्यारूंमेर
क जोगण बणगी बा भगवान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

जौहर तणी झळां मे पदमण, निज रौ रूप रळायौ
रूप बण्यौ कुन्नण, जद सत रौ सोनौ बणा गळायौ
पन्नाधाय पूत परखायौ, अजब गजब री गाथा
माटी जद-जद मांग्या, सैनाणी बणग्या बै माथा
माथा झुक-झुक खावै धोक
कवियां बांचै पुन्नसिलोक
क म्हांरी माटी गरब-गुमान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

हळदीघाटी मूंघी माटी, ल्यो, इतिहास बतावै
पीछोला री पाळ, गोखड़ा ऊंचोड़ा गरणावै
झीलां-भीलां री आ माटी, जग में है लाखीणी
ठौड़-ठौड़ में देव-देवरा, कीतरगाथा झीणी
हर-हर महादेव हुकांर
जै-जै एकलिंग आधार
रिच्छा करज्यौ आन‘र बान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज
नाथदुवारौ, जैसमंद अर राजसमंद, नगादौ
कुंभळगढ़, सज्जनगढ़ देखण रो है घणौ तगादौ
रिखबदेव, राणकपुर मिंदर, जिनप्रभु रा रैठाणा
मात अंबिका नै धोकै है, उदियापुर रा राणा
क कीरत दाम अठै बेथाग
कांकरोली, गुलाब रौ बाग
धरा है भामासा रै दान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

रणतभंवर रा गणपत घर-घर, नित-नित मंगळ गावै
मंगळ कारज सारण, आखौ जग बां ने ई ध्यावै
हठी हमीर तणी हठगाथा, रणथंबोर हठीलौ
जुगां-जुगां सूं धरमधाम रौ, कण-कण है गरबीलौ
मानखौ उजळावै हर गांव
रगत नै परखावै हर ठांव
वीर गाथावां कानूंकान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

अलवर री गुफा, भरथरी अलख जगायी धूणी
ओ सलीम रौ म्हैल खडयौ है, अलवर झील सलूणी
गोरा हट ज्या गढ़ बांकौ‘र किलौ बांकौ है भारी
तेज भरतपुर रौ तापै है, जाणै दुनियां सारी
पंछ्या तणौ केवळादेव
रंगीली पांखड़ल्यां‘र सनेव
उडारां है इधकै उणमान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

चामळ रा बीड़ां में, दिन मे रात अंधारी लागै
पण धर-कोटा में हाडां रौ बंस उजळौ सागै
मांडळगढ़, रामगढ़, बैरिज, दरड़ा करै ठिठौली
अठै जगमिंदर तणौ बणाव
झालरापाटण तणौ बणाव
क शोभा न्यारी थान-मकान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

हाडीराणी, जकी जुद्ध में भेजी, सिर-सैनाणी
जायी-जामी अठै, अठै रौ पीयौ सत रौ पाणी
बूंदी रा ए म्हैल सोवणा, चित्रम्हैल साच्याणी
छत्रम्हैल फुलड़ां रौ सागर, यादां घणी पुराणी
अठै है बिरज‘र कोहक बाग
रतनदौलत है जिणरौ भाग
क रचणा विध रै सरब विधान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

आबू रा ऊंचा डूंगर पर, बोलै है मोर सुहाणा
सूरज-सैलाणी री ठौडां, हनीमून-रैठाणा
नक्कीझील निजारा मारै, गुरसिखरौ गरबीलौ
बाग-बगीचा धर मैकावै, उपरां आभौ लिलौ
सिरोही आ रौही विख्यात
सोवणा दिन अर मदवी रात
प्रीत री रागां, मीठी तान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

डीघा मिंदर धरम-धुजावां, गिगनारां फुरकावै
गौमुख, दिलवाड़ा अर देवी, अधर खड़ी मुळकावै
मिंदर ओ रूघनाथ धणी रौ, अठै अचळगढ़ ऊंचौ
देखण नै आवै धरती नै, जण-सिंसार समूचौ
ऊजळौ मोती राजस्थान
धरम रौ गोती राजस्थान
नैण री जोती हिंदुस्तान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज

मायड़भासा राजस्थानी, आठ क्रोड़ री वाणी
साहित में नौरस उपनावै, सदियां सूं जगजाणी
जिण भासा में कवि किशोर रा, गीत गिगन सरणावै
ग्यान-ध्यान रै सागै, कविता री किन्या परणावै
कल्पनाकांत तणौ ओ गीत
बतावै राजस्थानी रीत
क म्हारी भासा गरब-गुमान री जी राज
धरती आ है राजस्थान री जी राज