धूप उतरने वाली है
चिड़िया के चहचहाने की आवाज़ है यह
चिड़िया के चोंच में
कोई सन्देश है तुम्हारे लिए
मुमकिन है
हो जाए वह शाम से पहले
किसी बाज़ का शिकार
और न ला पाए
कोई सन्देश किसी के लिए
कल
रचनाकाल : 1995, विदिशा
धूप उतरने वाली है
चिड़िया के चहचहाने की आवाज़ है यह
चिड़िया के चोंच में
कोई सन्देश है तुम्हारे लिए
मुमकिन है
हो जाए वह शाम से पहले
किसी बाज़ का शिकार
और न ला पाए
कोई सन्देश किसी के लिए
कल
रचनाकाल : 1995, विदिशा