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दे दी वोट सपोट तेरा यू जिसनै मान बढ़ाया / सतबीर पाई

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दे दी वोट सपोट तेरा यू जिसनै मान बढ़ाया
भीमराव नै भूल गया तू जिसनै शिखर चढ़ाया
 
वो भी वक्त याद कर जब तू दूर बिठाया जा था
भूल बिसर कै बैठ गया तै तुरंत हटाया जा था
कहकै तनै अछूत ऊत तेरा मान घटाया जा था
तेरे घर मैं चोरी करवाकै तेरा माल लुटाया जा था
आज चौधर का खुळिया राखै संग पित्तळ जड्या जड़ाया
 
न्हाण खाण की बात छोड़ तू राख्या दूर तलाबां तै
राजपाट और ठाठ बाट के राख्या दूर हिसाबां तै
पढण लिखण पै पाबंदी थी राख्या दूर किताबां तै
तेरे बाळ तलक ना काटे जां थे दूर था होटल ढाबां तै
टाई बुरसेट जुराबां तै तेरा जिसने बैन तुड़ाया
   
करूं बता के जिक्र मनै याहे सोच खतम कर्रही
बोलूं कोन्या झूठ उठकै देख तेरे क्यूं ना जर्रही
सोच समझ तै काम लिया ना तेरी आत्मा न्यू मर्रही
इब फैलादे बात बाहर तेरी जीभ कहण तै क्यूं डर्रही
या चिंता चित नै न्यू चर्रही मुंह रहता सड्य़ा सड़ाया
 
लोहे की तरह महामानव नै तेरा सारा ए जर खतम कर्या
इतनी सारी जोखम ठाकै सारा ए कर खतम कर्या
संविधान मैं पूरी तरियां धाराएँ धर खतम कर्या
भय की जिन्दगी जीवै था तेरा सारा ए डर खतम कर्या
पाई वाले सतबीर सिंह नै भी गाकै गला पड़ाया