(New page: पंख) |
Lalit Kumar (चर्चा | योगदान) |
||
| (2 सदस्यों द्वारा किये गये बीच के 2 अवतरण नहीं दर्शाए गए) | |||
| पंक्ति 1: | पंक्ति 1: | ||
| − | पंख | + | {{KKGlobal}} |
| + | {{KKRachna | ||
| + | |रचनाकार=दिविक रमेश | ||
| + | |संग्रह=खुली आँखों में आकाश / दिविक रमेश | ||
| + | }} | ||
| + | |||
| + | दरवाजा <br> | ||
| + | शायद खुला रह गया है<br><br> | ||
| + | |||
| + | इसी राह से <br> | ||
| + | आया होगा उड़कर<br> | ||
| + | यह खूबसूरत पंख !<br><br> | ||
| + | |||
| + | खिड़कियां तो सभी बंद हैं ।<br><br> | ||
| + | |||
| + | शायद सामने वाले पेड़ पर<br> | ||
| + | कोई नया पक्षी आया है ।<br><br> | ||
| + | |||
| + | हो सकता है <br> | ||
| + | बहुत दिनों से रह रहा हो ।<br><br> | ||
| + | |||
| + | दरवाजा खुला हो<br> | ||
| + | तो, ज़रूरी नहीं<br> | ||
| + | अंधड़ तूफान ही <br> | ||
| + | घुस आए घर में<br><br> | ||
| + | |||
| + | खूबसूरत पंख भी तो<br> | ||
| + | आ सकता है <br> | ||
| + | उड़कर ।<br><br> | ||
18:01, 23 मार्च 2008 के समय का अवतरण
दरवाजा
शायद खुला रह गया है
इसी राह से
आया होगा उड़कर
यह खूबसूरत पंख !
खिड़कियां तो सभी बंद हैं ।
शायद सामने वाले पेड़ पर
कोई नया पक्षी आया है ।
हो सकता है
बहुत दिनों से रह रहा हो ।
दरवाजा खुला हो
तो, ज़रूरी नहीं
अंधड़ तूफान ही
घुस आए घर में
खूबसूरत पंख भी तो
आ सकता है
उड़कर ।