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श्याम अंगन श्याम भूषण, वसन हैं अति श्याम। | श्याम अंगन श्याम भूषण, वसन हैं अति श्याम। | ||
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श्याम-श्याम के प्रेम भीने, 'गोविंद जन भए श्याम॥ | श्याम-श्याम के प्रेम भीने, 'गोविंद जन भए श्याम॥ | ||
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19:58, 18 अप्रैल 2011 के समय का अवतरण
मो मन बसौ श्यामा-श्याम।
श्याम तन मन श्याम कामर, माल की मणि श्याम।
श्याम अंगन श्याम भूषण, वसन हैं अति श्याम।
श्याम-श्याम के प्रेम भीने, 'गोविंद जन भए श्याम॥