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00:09, 15 जून 2011 {{KKGlobal}}
{{KKRachna
|रचनाकार= विनोद स्वामी
|संग्रह=
}}
[[Category:मूल राजस्थानी भाषा]]
{{KKCatKavita}}<poem>तूं बेरड़ी रै जिका भाटा मारया
बां नै देख म्हैं
याद करूं बै मीठा दिन,
पेडै में फंस्योड़ा
अै भाटा
तेरो दियोड़ो निजराणो-सो लागै
आज।
</poem>