गृह
बेतरतीब
ध्यानसूची
सेटिंग्स
लॉग इन करें
कविता कोश के बारे में
अस्वीकरण
Changes
करती है पानी -पानी / रमा द्विवेदी
2 bytes added
,
17:52, 17 अगस्त 2007
{{KKGlobal}}
*
*{{KKRachna करती है पानी-पानी |रचनाकार=रमा द्विवेदी
}}
मर्यादाएं न टूटें,इतना भी त्रास न दो।<br>
कोई नारी बने अम्बिका इतना भी उपहास न दो॥<br><br>
Anonymous user
202.153.38.4