* [[घर से निकले सुबह, शाम को घर लौटे / जहीर कुरैशी]]
* [[उनसे मिलने की आस बाकी है/ जहीर कुरैशी]]
* [[हमारे बीच संशय बढ़ रहे हैं/ जहीर कुरैशी]]
* [[कभी—कभी हमें ऐसे भी स्वप्न आते हैं/ जहीर कुरैशी]]
* [[वे जो मातम नहीं जानते/ जहीर कुरैशी]]
* [[घर के अंदर रही,घर के बाहर रही/ जहीर कुरैशी]]
* [[यादें निकल के घर से न जाने किधर गईं / जहीर कुरैशी]]
* [[औघड़ पर्वत के उलझे केशों में रस्ते ढूँढ लिए/ जहीर कुरैशी]
* [[कल्पना जिनकी यत्नहीन रही/ जहीर कुरैशी]]
* [[युद्ध करना कठिन हो गया/ जहीर कुरैशी]]
* [[पीड़ा से रिश्ता पक्का कर जाता है/ जहीर कुरैशी]]