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अगर अब अपनी ज़िन्दगी के बीचोबीच / येहूदा आमिखाई

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अगर अब, अपनी ज़िन्दगी के बीचोबीच, मैं
मौत के बारे में सोचूँ, तो मैं ऐसा इस आत्मविश्वास के तहत करुँगा
कि मौत के बीचोबीच मैं अचानक ज़िन्दगी के बारे में सोचने लगूँगा
उसी तसल्लीबख़्श अतीत की ललक के साथ
और उन लोगों की दूर ताकती निगाहों के साए में
जिन्हें मालूम है कि उनकी भविष्यवाणियाँ सच साबित होंगी।

अँग्रेज़ी से अनुवाद : मनोज पटेल