Last modified on 3 अगस्त 2013, at 16:51

आजाद / शर्मिष्ठा पाण्डेय

Sharda suman (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 16:51, 3 अगस्त 2013 का अवतरण ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=शर्मिष्ठा पाण्डेय }} {{KKCatGhazal}} <poem> धरत...' के साथ नया पन्ना बनाया)

(अंतर) ← पुराना अवतरण | वर्तमान अवतरण (अंतर) | नया अवतरण → (अंतर)

धरती पर लिख दो आजाद, अम्बर पर लिख दो आजाद
टूटे सारे बंधन जब, हर बेड़ी पर लिख दो आजाद

नौका पर लिख दो आजाद, लहरों पर लिख दो आजाद
तूफां जब पतवार संभाले, मौसम पर लिख दो आजाद

गलियों पर लिख दो आजाद, नगरों पर लिख दो आजाद
हिन्दुस्तां तलवार ले जब, हर गर्दन पर लिख दो आजाद

सरहद पर लिख दो आजाद, पर्वत पर लिख दो आजाद
शीश हिमालय खड़ा है ताने, चोटी पर लिख दो आजाद

गीता पर लिख दो आजाद, क़ुरान पर लिख दो आजाद
पन्ना-पन्ना एक कहानी, मजहब पर लिख दो आजाद

स्याही पर लिख दो आजाद, कलम पर लिख दो आजाद
शपा खींच आड़ी-तिरछी, हर नक़्शे पर लिख दो आजाद

फूलों पर लिख दो आजाद, शूलों पर लिख दो आजाद
स्व-आहुति लेने वाली, उस गोली पर लिख दो आजाद