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आग में इसको अभी न डालो मिट्टी गीली है / 'सज्जन' धर्मेन्द्र
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26 फ़रवरी
पानी सूखेगा तो ये पत्थर हो जायेगी,
बीज प्रेम का
तुख़्म-ए-मुहब्बत
जल्दी डालो मिट्टी गीली है।
ज़्यादा अगर मिला तो ये कीचड़ हो जायेगी,
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