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रंग और काष्ठ नहीं / भारत भूषण तिवारी / मार्टिन एस्पादा
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11:25, 9 अक्टूबर 2014
रंग और काष्ठ नहीं बल्कि हाड़-मांस
उन्हें पसन्द है मेरा थिर रहना
वह बनावटी हँसी के साथ
बोली ।
बोली।
मुझे पसन्द नहीं थिर रहना
मैं चढ़ना चाहती हूँ
माँचू पीच्चू की सीढ़ियाँ
Sharda suman
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