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"सिसकियाँ / निदा नवाज़" के अवतरणों में अंतर

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13:51, 12 फ़रवरी 2016 के समय का अवतरण

बड़ी कोठियों में
रहने वाले मर्द
होते हैं उतने व्यस्त
कि नौकरों को
संभालनी पड़ती हैं
दीवारों से गूंजती
नाज़ुक सिसकियाँ.