भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

डोरड़ा गीत / राजस्थानी

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज

थाकां दादासा नानण बण बाइया, थांकी दाद्या न कात्यो नानू सूत,
बान्धो जी हटीला लाडा डोरडो।
थांका डोरड़ा म हीरा मोती लाल। बांधो जी हटीला लाडा डोरडो।
थांका डोरड़ा न रेशम डोर पुवाय। बांधो जी हटीला लाडा डोरडो।
थांका डोरड़ा म जड़या छै जड़ाव। बांधो जी हटीला लाडा डोरडा।
थांका बाबासा नानण बण बाइया, थांकी मायां न कात्यो न कात्यो नानू सूत
बांधो जी हटीला लाडा डोरड़ो।