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लगन थारी लागी चतुरभुज राम / प्रतापबाला

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लगन थारी लागी चतुरभुज राम।
श्याम सनेही जीवन ये ही औरन से क्या काम।
नैन निहारूँ पल न बिसारूँ सुमिरूँ निसिदिन श्याम॥
हरि सुमिरन तें सब दुख जावे मन पावे बिसराम।
तन-मन-धन न्योछावर कीजै कहत दुलारी जाम॥