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विद्यादायिनि ‘सरस्वती’ जय / हनुमानप्रसाद पोद्दार

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(राग तोड़ी-ताल त्रिताल)

विद्यादायिनि ‘सरस्वती’ जय, श्री-विभूतिदा ‘लक्ष्मी’ जय।
 ‘ललिताबा’ कल्याणकरी जय, ‘दुर्गा’ दुर्गतिनाशिनि जय॥
 मुक्तिञ्दायिनी ‘गायत्री’ जय, ‘काली’ कलुषनिकन्दिनि जय।
 जय प्रसिद्ध षड्‌‌रूपा माता, दुःख-शोक-भयहारिणि जय॥