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जीवन आज बना शमशान / रंजना वर्मा

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जीवन आज बना शमशान।
इस का भी तो लो संज्ञान॥

कुछ तो ऐसा हो अब काम
सबके मुख पर हो मुस्कान॥

देखो मत औरों की ओर
अपनी ताकत लो पहचान॥

नही भरोसा देगा ईश
सोया है वह चादर तान॥

बहती हुई बताती वायु
आने वाला है तूफ़ान॥

पीछे गला काटते लोग
बोलें सबसे मधुर जबान॥

नेता चाहें केवल वोट
लोग मरें या मरे किसान॥