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03:58, 28 सितम्बर 2011 के समय का अवतरण
पहाड़ों का क्षेत्र !
पहाड़ों का रूप निराला
बिन बीजे
यहां - वहां वृक्ष ही वृक्ष
कुदरत की देन
पहाड़ पर अपार
जड़ी बूटियों की भरमार
प्रत्येक वृक्ष , पुष्प पत्ती जीवनदायिनी ।