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"गायेगी फगुवारी टोली / शीलेन्द्र कुमार सिंह चौहान" के अवतरणों में अंतर
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दहक उठेंगे बूढ़े सेमल | दहक उठेंगे बूढ़े सेमल | ||
पा फागुनी हवा के झोंके | पा फागुनी हवा के झोंके | ||
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होंगे बेर जवां बिन टोंके | होंगे बेर जवां बिन टोंके | ||
चौपालों में | चौपालों में |
21:33, 16 मार्च 2012 के समय का अवतरण
गायेगी फगुवारी टोली
हँसी ठिठोली
से भर झोली
आई है मनभावन होली
रफ्ता रफ्ता
रंग चढ़ेगा
कुछ मलाल का ,कुछ गुलाल का
दिन अंगूरी
हो बहकेंगे
लहकेगा तन नये साल का
गीत प्यार के
गूँज उठेंगें
मन खेलेगा आँख मिचौली
दहक उठेंगे बूढ़े सेमल
पा फागुनी हवा के झोंके
बौरेंगे
आमों के बिरवे
होंगे बेर जवां बिन टोंके
चौपालों में
ढोल बजेंगे
गायेगी फगुवारी टोली।