"यहो हुएॅ पारेॅ / अभिनंदन" के अवतरणों में अंतर
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21:53, 22 जून 2016 के समय का अवतरण
सुनै छेलियै दादा सें
बाबा सें, काका सें
दादी आरो नानी सें
कि आपनोॅ देश सोना के चिड़िया छेलै
दूधोॅ के बहै छेलै जहाँ नद्दी
गूंजेै छेलै मंत्रा-शांति आरो अहिंसा के
आय ऊ सब कहाँ छै
जों सोना के चिड़ियाँ होतियै ई देश
तेॅ कथी लेॅ जैतियै हमरोॅ लोग
कमावै लेॅ सोना परदेश
परदेश में सहतियै अन्याय आरो उपेक्षा
जांे यहाँ बहतें होतियै
दूधोॅ के नद्दी
तेॅ हेने देखैतियै आधोॅ से अधिक आबादी
डांगर आरो लरपच ।
खपटा पेट वाला
जांे गूंजतै होतियै
शांति आरो अहिंसा रोॅ मंत्रा
तेॅ हेनै केॅ फूटतियै
सड़क सें लैकेॅ
अदालत तक में धांय-धांय बम ?
होतै कभियो हमरोॅ हेनोॅ देश
इखनी तेॅ नै छै ।
हों वहू सब हुएॅ पारै छै
जों हमरा सिनी मिली जुली केॅ
अपना-अपना लेॅ नै
देशोॅ के हित में
आरक्षण लेली खड़ा होय जइयै ।