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बेंग- वर्षा / हरेकृष्ण डेका

No change in size, 16:50, 28 फ़रवरी 2017
इनकी ज़बानों पर योजनाओं का नया मसौदा है
और नए आँकड़े।
हम बेंगछाते*<ref>कुकुरमुत्ता</ref> का छाता सिर पर ताने
नई घोषणा सुनने को प्रस्तुत हैं।
महामण्डूक की महानिद्रा के कारण
मन्त्र की तरह रटते हुए,
बेंगुचा।
हमारे सिरों पर तने बेंगछाते<ref>कुकुरमुत्ता</ref>
फट जाते हैं सशब्द।
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