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खाली भाठा नै
कुण पूजै
भाठा अणथाक
पड़्या है इन्नै-बीन्नै
छिणी-हथोड़ां री
मार खायर भाठा
बणै सरद्धा रौ सरूप
तद
पूजां आपां
अर
करां ध्यान-धूप।