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"जन्मस्थान / विजयशंकर चतुर्वेदी" के अवतरणों में अंतर
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+ | किसी को नहीं रहता याद | ||
कहाँ गिरा था वह पहली बार धरती पर | कहाँ गिरा था वह पहली बार धरती पर | ||
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कहाँ जना गया | कहाँ जना गया | ||
− | किस ठौर | + | किस ठौर कटी थी उसकी नाल? |
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आसान नहीं है सर्वज्ञों के लिए भी यह जान लेना | आसान नहीं है सर्वज्ञों के लिए भी यह जान लेना | ||
कि क्यों पैदा होता है कोई? | कि क्यों पैदा होता है कोई? | ||
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कितने ईसा | कितने ईसा | ||
कितने बुद्ध | कितने बुद्ध | ||
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कितने राम | कितने राम | ||
कितने रहमान | कितने रहमान | ||
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कितने फुटपाथ | कितने फुटपाथ | ||
कितने अस्पताल | कितने अस्पताल | ||
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कितने रसोईघर | कितने रसोईघर | ||
कितने मैदान | कितने मैदान | ||
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कितने महल | कितने महल | ||
कितने अस्तबल | कितने अस्तबल | ||
कौन पार पा सकता है जच्चाघरों से? | कौन पार पा सकता है जच्चाघरों से? | ||
− | कैसे बता सकती हैं | + | कैसे बता सकती हैं ख़ानाबदोश जातियाँ |
− | + | किन-किन तम्बुओं में जनी गईं वे | |
− | + | घाट-घाट का पानी पीकर | |
− | + | कैसे चली आईं अयोध्या तक...? | |
− | चली | + | </poem> |
20:50, 21 दिसम्बर 2018 के समय का अवतरण
किसी को नहीं रहता याद
कहाँ गिरा था वह पहली बार धरती पर
कहाँ जना गया
किस ठौर कटी थी उसकी नाल?
आसान नहीं है सर्वज्ञों के लिए भी यह जान लेना
कि क्यों पैदा होता है कोई?
कितने ईसा
कितने बुद्ध
कितने राम
कितने रहमान
कितने फुटपाथ
कितने अस्पताल
कितने रसोईघर
कितने मैदान
कितने महल
कितने अस्तबल
कौन पार पा सकता है जच्चाघरों से?
कैसे बता सकती हैं ख़ानाबदोश जातियाँ
किन-किन तम्बुओं में जनी गईं वे
घाट-घाट का पानी पीकर
कैसे चली आईं अयोध्या तक...?