भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए
"गोरिकी (गोर्की) के लिए क़ब्र-लेख / बैर्तोल्त ब्रेष्त / उज्ज्वल भट्टाचार्य" के अवतरणों में अंतर
Kavita Kosh से
अनिल जनविजय (चर्चा | योगदान) ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=बैर्तोल्त ब्रेष्त |अनुवादक= उज्ज...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) |
(कोई अंतर नहीं)
|
18:24, 17 नवम्बर 2021 के समय का अवतरण
यहाँ सोया है
मुफ़लिसों की बस्ती का पैग़ाम लाने वाला
जनता पर ज़ुल्म का बयान करने वाला
उसके लिये लड़ने वाला
जिसने सड़कों के विश्वविद्यालयों में शिक्षा पाई
नीच कुल में जिसका जन्म हुआ
जो ऊपर-नीचे की व्यवस्था को
उखाड़ने में मदद करता रहा
जनता का शिक्षक
जो जनता से सीखता रहा ।
मूल जर्मन भाषा से अनुवाद : उज्ज्वल भट्टाचार्य