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मुझ में इक आदमी भी रहता था | मुझ में इक आदमी भी रहता था | ||
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राम जाने किधर गया होगा | राम जाने किधर गया होगा | ||
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कितना ख़ामोश अब समंदर है | कितना ख़ामोश अब समंदर है | ||
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ज्वार बदनाम कर गया होगा | ज्वार बदनाम कर गया होगा | ||
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मोम पाषाण हो गया आख़िर | मोम पाषाण हो गया आख़िर | ||
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प्यार हद से गुज़र गया होगा | प्यार हद से गुज़र गया होगा | ||
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आपको अपने सामने पाकर | आपको अपने सामने पाकर | ||
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आइना ख़ुद सँवर गया होगा | आइना ख़ुद सँवर गया होगा | ||
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उसने इंसानियत से की तौबा | उसने इंसानियत से की तौबा | ||
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सब्र का जाम भर गया होगा | सब्र का जाम भर गया होगा | ||
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तुम कहाँ थे पराग अब तक तो | तुम कहाँ थे पराग अब तक तो | ||
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रंगे-महफ़िल उतर गया होगा | रंगे-महफ़िल उतर गया होगा | ||
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15:39, 10 मई 2009 के समय का अवतरण
आदमी ख़ुद से डर गया होगा
वहशते-दिल से मर गया होगा
मुझ में इक आदमी भी रहता था
राम जाने किधर गया होगा
कितना ख़ामोश अब समंदर है
ज्वार बदनाम कर गया होगा
मोम पाषाण हो गया आख़िर
प्यार हद से गुज़र गया होगा
आपको अपने सामने पाकर
आइना ख़ुद सँवर गया होगा
उसने इंसानियत से की तौबा
सब्र का जाम भर गया होगा
तुम कहाँ थे पराग अब तक तो
रंगे-महफ़िल उतर गया होगा