"समयातीत पूर्ण-9/ कुमार सुरेश" के अवतरणों में अंतर
अनिल जनविजय (चर्चा | योगदान) |
Kumar suresh (चर्चा | योगदान) |
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तुमने बताया ख़ून के रिश्तों से बढ़कर | तुमने बताया ख़ून के रिश्तों से बढ़कर | ||
लोकमंगल है | लोकमंगल है | ||
− | + | नीति वही श्रेष्ट है जो समाज के बृहद हित में हो | |
प्रेम का मूल्य सबसे बढ़कर है | प्रेम का मूल्य सबसे बढ़कर है | ||
स्त्रियों का सम्मान और स्वतंत्रता | स्त्रियों का सम्मान और स्वतंत्रता | ||
− | प्रथम | + | प्रथम धारनीय है |
निर्भय वही है जो निर्लिप्त है | निर्भय वही है जो निर्लिप्त है | ||
− | व्यक्तिगत | + | व्यक्तिगत महत्वकांक्षाऐ |
− | सत्य वह नहीं है जो | + | सर्वप्रथम त्याज्य है |
+ | सत्य वह नहीं है जो हमने सुन कर माना हो | ||
सत्य वही है जिसका हम आविष्कार करते हैं | सत्य वही है जिसका हम आविष्कार करते हैं | ||
है परम क्रन्तिकारी | है परम क्रन्तिकारी |
11:50, 4 अप्रैल 2010 का अवतरण
है क्रांति दृष्टा
तुमने आमूल बदल दिया
जीवन पद्धति को
कहा इन्द्र-पूजा व्यर्थ है
बंद करा के इन्द्र पूजा
अपनी रक्षा आप करना सिखाया
अन्याय और अत्याचार के विरूद्ध
तुम्हारा संघर्ष अनवरत जारी रहा
हर उस शक्ति से संघर्ष किया
जो जनविरोधी एवम निरंकुश थी
चाहे वह मामा कंस हो या क्रूर जरासंध
तुमने बताया ख़ून के रिश्तों से बढ़कर
लोकमंगल है
नीति वही श्रेष्ट है जो समाज के बृहद हित में हो
प्रेम का मूल्य सबसे बढ़कर है
स्त्रियों का सम्मान और स्वतंत्रता
प्रथम धारनीय है
निर्भय वही है जो निर्लिप्त है
व्यक्तिगत महत्वकांक्षाऐ
सर्वप्रथम त्याज्य है
सत्य वह नहीं है जो हमने सुन कर माना हो
सत्य वही है जिसका हम आविष्कार करते हैं
है परम क्रन्तिकारी
हम अल्पग्य आज भी वहीँ खड़े हैं
जहाँ तुम्हारे समय थे
तुम अपने समय से कितना पहले
आए थे ?
है अग्रगामी